देहभाषा की त्वरित मार्गदर्शिका
हाथ बांधना
कुछ विचारों और उद्गगम
शरीर के सामने हाथ बांधना या शरीर के सामने आता डे रखना यह हसबंद और सुरक्षात्मक दृष्टिकोण दर्शाता है यहां एक जन्मजात संकेत है 70 प्रतिशत लोग अपनी बाई साहू को दायमा के ऊपर बांधेते से इस आदतों को बदलना लगभग असंभव सा प्रतीक होता है इसका उद्देश्य यह है कि किसी भी प्रकार के आक्रमण से दिलवर फेफड़ों की सुरक्षा हो जाए और अधिकतर वानर अथवा वन मनुष्य भी इसी वजह से इस मुद्रा का प्रयोग करते हैं
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1यहां किसी सख्त चने को फोड़ने की तरह है
इस संकेत में की गई शोध बताते हैं कि सुनते समय जोश होता इस मुद्रा का प्रयोग करते हैं वह उन लोगों के साथ 38 प्रतिशत कम समझते हैं जो खुली स्थिति में होते हैं जब प्रस्तुतकर्ता के प्रदर्शन के बारे में उनसे पूछा गया तो हाथ बांधने वाले लोगों ने छोटे बच्चे का प्रयोग किया नजरे कम मिलाई पीछे हटकर अधिक बैठे और प्रस्तुतकर्ता के प्रदर्शन के प्रति अधिक आलोचनात्मक रुख अपनाया बजाय उन सोता हूं ओके जो बिना हाथ बांधे बैठे थे
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हाथ बनने के कई सूक्ष्म तरीका होते हैं जैसे आधे हाथ बांधना (चित्र 4) अपने आप पर से हाथ मिलाना ( चित्र 5) जो उस स्पर्श का अवश्य हे जब आपके घबरा जाने पर आपके माता-पिता आपका हाथ पकड़ा करते थे वह दोनों हाथों से कोई चीज पकड़ना(चित्र 6) दोनों हाथों से पर्स गिलास या फोल्डर पकड़ने का उद्देश्य सुरक्षा का एहसास प्राप्त करना होता है क्योंकि उस स्थिति में आपके हाथ शरीर के सामने होते हैं दूसरे हाथ में पहनी अंगूठी घटिया शर्ट के बटन छूने से भी वही परिणाम मिलते हैं चित्र साथ दर्शाता है कि दाएं हाथ पर बैठा व्यक्ति सही पृष्ठभूमि में संकेतों के समूह का प्रयोग कर रहा है वहां हाथ बांधने की मुर्दा का प्रयोग कर रहा है उसके पैर खुलते हैं (पुरुष आक्रमणकरता) एक भौंह चंडी हुए हैं (आलोचनात्मक) बांध होठों पर मुस्कुराहट है (अपने आपको पीछे हटाते हुए) और शरीर दूसरी ओर (रूचि हीनता) वहां बाइक की दोनों लोगों से खुद को उपेक्षित महसूस कर रहा है जबकि वे दोनों लोग प्रतिबिंबित द्वारा एक-दूसरे के साथ तालमेल बना रहे हैं
7 दाएं और बैठा व्यक्ति उपेक्षित महसूस कर रहा है
कारण और परिणाम की समस्या
उदाहरण के तौर पर मान ले कि कोई व्यक्ति नकारात्मक सुरक्षात्मक सबसे अलग या विरोध महसूस कर रहा है इस बात की काफी संभावना है कि वह अपने रवैया को अपने सीने और आरपार हाथ बांधकर शब्दों हीन संकेत में व्यकत करेगा हमें सोच से यहां भी पता चला है कि हाथ बांधने की अवस्था में व्यक्ति की समझने की क्षमता 40 प्रतिशत कम हो जाती है और उसका रुक आलोचनात्मक हो जाता है
यह साधारण प्रयोग करके देखें पीछे क्यों हट जाए और अपने हाथों को सीने पर कसकर बांध लें आप केसा अनुभव करते हैं बधा हुआ असहभागी ? असम्मिलित ? आशियाना से पता चलता है कि आपने किसी भी कारण से सीने के सामने हाथ बांधे हो तो आपको इस संकेत के नकारात्मक प्रभाव का अनुभव होने लगता है यहां कारण और परिणाम की स्थिति है आदतन हाथ बांधने वाले का हमेशा यहां दावा रहता है कि वे इस मुद्रा में अधिक आरामदेह महसूस करते हैं क्योंकि हाथ बांधने के संकेत से उन्हें उनके साथ जुड़ी भावनाओं का भी अनुभव होता है अगर आप यहां विश्वास ना भी करें कि हाथ बांधना एक नकारात्मक संकेत है तो अभी आपका सोता चेतना रूप से आपको नकारात्मक या गियर मिलनसार समझ बैठेगा इसी कारण यह ठंडे कमरे में लोगों के समूह से कोई बात मान आवा ना काफी कठिन होता है प्रस्तुति के समय कमरे का आदर्श तापमान 21 डिग्री होना चाहिए
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